शिव पूजा के नियम – धर्म ग्रंथों के अनुसार, भगवान शिव की प्रतिमा और शिवलिंग की पूजा के नियम अलग-अलग है।
शिवलिंग को भोग – भगवान शिव और शिवलिंग को भोग लगाने के नियम भी अलग होते है।
मंदिर में प्रसाद – ज्यादातर मंदिर में भगवान शिव की पूजा के बाद प्रसाद लोगों में बांट दिया जाता है।
शिवलिंग पर चढ़ा प्रसाद – माना जाता है की शिवलिंग पर चढ़ा हुआ प्रसाद नहीं खाना चाहिए। क्या है इसके पीछे का कारण , जानिए।
चंडेश्वर – पौराणिक मान्यता के अनुसार, भोलेनाथ के मुख से भूत – प्रेतों का प्रधान चंडेश्वर प्रकट हुआ था। मान्यता है की शिवलिंग पर चढ़ा हुआ प्रसाद चंडेश्वर का भोग होता है।
प्रसाद न करें ग्रहण – इसलिए कहा जाता है की शिवलिंग पर चढ़ा हुआ प्रसाद ग्रहण नहीं करना चाहिए।
प्रवाहित कर दें – माना जाता है की शिवलिंग पर चढ़ाएं गए प्रसाद को नदी या जलाशय में प्रवाहित कर देना चाहिए।
ये प्रसाद खा सकते है – धातु या पारद शिवलिंग पर चढ़ाए गए प्रसाद को ग्रहण कर सकते हैं।
शिव पुराण – शिव पुराण के अनुसार, भगवान शिव की पूजा का प्रसाद ग्रहण करने से पुण्य फलों की प्राप्ति होती है।
नोट – यह जानकारी सिर्फ मान्यताओं, धर्मग्रंथों और विभिन्न माध्यमों पर आधारित है। किसी भी जानकारी को मानने से पहले विशेषज्ञों से सलाह लें।