कैसा होता है धतूरे का फूल – धतूरा का फूल अमूमन सफ़ेद रंग का होता है। यह रंग भगवान शिव को अति प्रिय है। यह फूल कभी- कभी हल्के बैंगनी या फिर पीले रंग का भी होता है।
शिव की पूजा नहीं होती पूरी – जब तक भगवान शिव की पूजा में धतूरे का फूल अर्पित नहीं किया जाता, कहा जाता है की भगवान शिव पूजा को स्वीकार नहीं करते। क्योकि यह फूल उन्हें बहुत ही प्रिय है।
क्यों है भगवान – समुद्र मंथन के समय हलाहल से भरा कलश निकला तब भगवान शिव ने इसे ग्रहण किया और कंठ में रख लिया। तब से धतूरे को हलाहल के प्रतीकात्मक स्वरुप भगवन शिव को चढ़ाया जाता है।
किताबों में रखने से बढ़ता है ज्ञान – धतूरे के फूल को आप अपनी कॉपी किताबों के बिच में रख सकते है। जब यह सुख जाये तब भी आप इसे अपने पास रखे रह सकते है। इससे आपके अंदर ज्ञान वृद्धि होगी।
आर्थिक स्तिथि रहती है ठीक- धतूरे के फु को आप अपनी पैसों की तिजोरी के अंदर रख सकती हैं। इससे आपकी आर्थिक स्तिथि ठीक होगी।
नहीं आएंगे डरावने सपने – अगर आपको डरावने सपने आते है तो आपको धतूरे के फूल को तकिया के नीचे रख कर सोना चाहिए। ऐसा करने से भय दूर होता है।
By Neeru Rajput